(और आप लोगों का एक बड़ा वर्ग है.. जो लोग ब्लॉग जैसी तक्नीक का इस्तेमाल कर के इस लेख तक पहुँचे हैं.. वे मोबाइल फोन की सीढ़ी पार कर के यहाँ तक आए हैं..)
मित्रों, मैं एक ऐसी समस्या के प्रति आप का ध्यान आकृष्ट करना चाहूँगा जिससे मैं तब से आक्रान्त हूँ जब से मोबाइल फोन मेरे जीवन में आया है.. मेर अपराध सिर्फ़ इतना है कि मेरा नाम अभय है.. अंग्रेज़ी अल्फाबेट के पहले दो अक्षर मेरे नाम के पहले दो अक्षर होने के कारण अक्सर मेरा नाम लोगों की फोन बुक के शीर्ष पर होता है..होते होंगे पहला होने के फ़ायदे.. यहाँ कोई नहीं.. उल्टा नुक्सान है.. अकसर मेरे पास ऐसे संदेश आते हैं जिनमें या तो कुछ ऊलजलूल लिखा होता है... कुछ ऐसा.. dskjgkjfdpdjei.. या फिर कुछ भी नहीं.. और एक नहीं.. एक के बाद एक आते ही जाते हैं.. पाँच दस पन्द्रह बीस तीस पचास..
ऐसा तब होता है जब मेरे वे मित्र अपना फोन लॉक नहीं करते.. दुर्भाग्य से मेरा नाम जिनकी फोन बुक में पहला है.. और किन्ही अनजान अनदेखे कारणवश उनके फोन की कुंजियां कुछ इस तरह से दबती हैं कि मेरे नाम संदेश रवाना होना शुरु हो जाते हैं.. ऐसा जेब में पड़े पड़े.. चलते फिरते लेटे बैठे.. किसी भी अवस्था में हो सकता है.. जबकि फोन की कुंजियां दबने के लिए स्वतंत्र हो जाय (विरोधाभासी वाक्य है, माफ़ करें)..
और मुझे सिर्फ़ ऐसे संदेश ही नहीं आते.. कॉल्स भी आते हैं.. मित्र का नाम मेरे फोन के स्क्रीन पर चमकता है.. मैं उत्साह से भरकर हलो कहता हूँ.. या अति उत्साह से भरकर ये तक कह डालता हूँ कि फ़ुर्सत मिल गई हम से बात करने की.. और न जाने क्या क्या.. और दूसरी तरफ़ से अजीब साउन्डट्रैक चल रहा होता है.. कभी कार में संगीत और बाहर के ट्रैफ़िक का शोर.. कभी ट्रेन की घटर घटर.. कभी रेस्तरां का हल्ला गुल्ला.. कभी सिनेमा हॉल की ध्वनियों का संसार.. कभी मियाँ बीबी के झगड़े के बीच बच्चे की चिल्लपों.. कभी कुछ अंतरंग फ़ुसफ़ुसाहटें.. इन सब को मैंने सुनते हुए परिस्थिति के अनुरूप अलग अलग मात्रा में अपराध बोध का अनुभव किया है..
और उनके हालात के अलावा मेरे हालात भी इसी तरह से विभिन्नता लिए होते हैं..और किसी दृष्टि से सुखद नहीं होते.. तो कभी उसी वक्त और कभी बाद में, जैसे वक्त की पुकार हुई, अपने मित्र को फोन करके इस समस्या से मुझे और उसे बचाने का उपाय बताया है.. मित्रों..हो सकता है आप भी इस समस्या का शिकार होते हैं.. समस्या के किसी भी छोर पर रह कर.. तो एक मामूली सा उपाय आप की पेशेनज़र है..
अपनी फोन बुक में एक नई एन्ट्री दाखिल करें.. AAA के नाम से.. और जब नम्बर तलब किया जाय तो या तो आप उसे खाली छोड़ दें.. या फिर एक ऐसा नम्बर भरें जिसके बारे में आप निश्चित है कि वह ग़लत नम्बर है.. ऐसा करने के बाद अगर कभी आप अपने फोन को लॉक करना भूले भी तो आप को चिंता करने की ज़रूरत नहीं..
दो बातों का और ख्याल रखें..
१) कई बार फोन का कुंजीपटल लॉक करने पर भी खुल जाता है.. भाई खुलता भी तो कुंजियां दबाने से ही है.. दब गई कुंजियां.. खुल गया..
२) यह समस्या फोन बुक के शीर्ष नाम के साथ ही नहीं.. अन्तिम नाम के साथ भी हो सकती है.. मेरा खयाल है कि कोई ज़ीनत या ज़ैनब भी मेरे दर्द के साझीदार होंगे.. उनकी राहत के लिए ZZZ नाम से एक एन्ट्री दाखिल करें..
और इस तरह अपनी गाढ़ी कमाई को यूँ ज़ाये होने से और निजी जीवन को यूँ शाये होने से बचायें...